Allahabad High Court Judgement on Ayodhya सुन्‍नी वक्‍फ बोर्ड का दावा खारिज



इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच के तीन जजों की बेंच ने अयोध्या मामले में सुन्‍नी वक्‍फ बोर्ड का दावा खारिज 2-1 से खारिज, हाई कोर्ट ने कहा-मंदिर तोड़कर बनाई गई थी मस्जिद।

सुन्‍नी वक्‍फ बोर्ड का दावा खारिज
  • लखनऊ बेंच के तीन जजों की बेंच ने 2-1 सुन्‍नी वक्‍फ बोर्ड का दावा खारिज किया।
  • सुन्नी वक्फ बोर्ड का दावा खारिज कर दिया गया है।
  • जजमेंट में यह भी कहा गया है कि मंदिर तोड़कर बनाई गई थी मस्जिद।
  • जहां रामलला विराजमान हैं वही राम जन्मभूमि है।
  • जमीन 3 भागों में बांटी जाएगी।
  • जहां रामलला विराजमान हैं वह और आसपास की जमीन मंदिर को दी जाएगी।
  • एक तिहाई जमीन सुन्नी वक्फ बोर्ड को।
  • एक तिहाई निर्मोही अखाड़ा को। इसमें राम चबूतरा और सीता रसोई भी शामिल है।
  • जहां रामलला विराजमान हैं वह स्थान मंदिर को।
  • कोर्ट ने यह माना कि विवादित स्थान पर मूर्ति बाहर से रखी गई थी।
  • मंदिर बनने और पूजा करने पर कोई रोक नहीं।
  • कोर्ट ने 3 महीने तक यथास्थिति बनाए रखने के लिए कहा है।
  • मंदिर तोड़ कर बनाई गई थी मस्जिदः हाई कोर्ट
  • राम लला परिसर देव परिसर है - न्‍यायमूर्ति शर्मा
  • राम का जन्‍मस्‍थान है आयोध्‍या - न्‍यायमूर्ति खान
  • पूरा परिसर मिले राम को - न्‍यायमूर्ति शर्मा
  • विवादित स्थल को राम का जन्म भूमि बताया - न्‍यायमूर्ति शर्मा
  • विवादित भवन का निर्माण बाबर ने किया था, लेकिन कब करवाया था इसकी जानकारी नहीं - न्‍यायमूर्ति शर्मा
  • विवादित स्थल पर जो ढांचा बना है वो पुराने ढांचे के ऊपर बनाया गया था। इसमें शिव जी की मूर्ति मिली थी, इसके सबूत भी मिल चूके है। - न्‍यायमूर्ति शर्मा
  • 22 व 23 दिसंबर 1949 को विवादित स्थल पर रात में मूर्तियां रखी गई थी। - न्‍यायमूर्ति शर्मा
  • बाबर के आज्ञा के अनुसार ही विवादित स्थल पर मस्जिद बनाई गई थी- न्‍यायमूर्ति खान
  • गवाहों या सबूतों से यह साफ नहीं होता कि विवादित ढांचा बाबर या किसी और व्यक्ति के अंतर्गत बनवाई गई थी- न्‍यायमूर्ति खान
  • मस्जिद बनाने के लिए किसी मंदिर को ध्वस्त नहीं किया गया था- न्‍यायमूर्ति खान
  • मस्जिद का निर्माण होने के बहुत समय पहले वहां मंदिर था जो खंडहर हो चुका था और इसलिए उस मंदिर के खंडहर की सामग्री मस्जिद बनाने में उपयोग में लाई गई थी- न्‍यायमूर्ति खान
  • विवादित स्थल के बड़े भूभाग के बारे में हिंदूओं का मानना था कि इस बड़े भूभाग में कोई छोटा सा हिस्सा है जो भगवान राम का जन्म स्थल है। जबकि यह विश्वास विवादित स्थल के किसी भी हिस्से सें संबंधित नहीं है विशेषकर उस विवादित हिस्से से तो बिलकुल नहीं- न्‍यायमूर्ति खान
  • मस्जिद के निर्माण के बाद हिंदूओं को पता चला कि यह वही स्थान है जहां भगवान राम का जन्म हुआ था- न्‍यायमूर्ति खान
  • सन 1855 से बहुत पहले राम चबूतरा व सीता रसोई वहां पर अस्तित्व में था और लोग इसकी पूजा करते थे । यह बड़ी अजीबो गरीब स्थिति है कि मस्जिद के कंपाउंड के अंदर हिंदूओं का धार्मिक स्थल है और वहां मुस्लिम नमाज अदा करते हैं- न्‍यायमूर्ति खान
  • उपरोक्त सार के अनुसार दोनों समुदायों हिंदूओं और मुस्लिमों को संयुक्त कब्जा होना चाहिए- न्‍यायमूर्ति खान
  • सन 1949 से दशकों पहले हिंदूओं का विश्वास था कि मस्जिद के गुंबद के ठीक नीचे भगवान राम का जन्म हुआ था- न्‍यायमूर्ति खान
  • 23 दिसबंर 1949 में पहली बार मस्जिद के गुंबद के नीचे भगवान की मूर्तियां रखी गई- न्‍यायमूर्ति खान
  • यह सब देखते हुए दोनों समुदायों को विवादित स्थल पर संयुक्त कब्जा दे दिया गया है। तथा गुंबद के नीचे का स्थान जो श्रीराम का जन्म स्थल माना गया है वह भी हिंदूओं को दे दिया गया है - न्‍यायमूर्ति खान


Share:

15 टिप्‍पणियां:

सुरेन्द्र मोहन ने कहा…

माननीय हाईकोर्ट ने सर्वसम्मति से माना कि यह जगह राम जन्मभूमि है...

sanu shukla ने कहा…

भारत में आनंद भयो

जय रघुवर लाल की !!

पवनसुत हनूमान की जय...सियावर रामचन्द्र की जय !!

प्रवीण पाण्डेय ने कहा…

ठुमुक चलत राम चन्द्र।

दीपक बाबा ने कहा…

बहुत ही बढिया विचार हैं आपके.


श्रीराम जय राम - जय जय राम

बधाई हो
बधाई हो

दोनों पक्षों को शुभकामनाएं.

ePandit ने कहा…

बाकी सब तो ठीक लेकिन जस्टिस खान का पूर्वाग्रह उपर्युक्त कथनों में झलकता है जैसे मस्जिद मन्दिर तोड़ कर नहीं बनायी गयी थी, तो क्या मन्दिर की छत पर बनायी गयी थी?

वो तो तथ्य इतने मजबूत थे कि रामजन्मभूमि को नकारना सम्भव नहीं था वरना कॉंग्रेस सरकार, पूरा मीडिया और छद्म सेकुलर खेमा तो पूरी कोशिश में था कि हिन्दुओं को वहाँ से चलता किया जाय।

ABHISHEK MISHRA ने कहा…

अभी तो ये अंगडाई है
आगे बहुत लडाई है .
न्यायमूर्ति शर्मा जी ने ही सही फैसला दिया .अगर वहा पर मंदिर था तो फिर ये तो हिन्दू समाज के साथ घोर अन्याय हुआ की इतने साल तक हम वहा भव्य मंदिर न बना पाए . और सुन्नी वक्फ बोर्ड को जमीन किस आधार पर मिली है .वहा पर तो सिर्फ हिन्दुओ का अधिकार है.
एक कुत्ते बाबर बाबर ने मंदिर तोडा और मस्जिद बना दी और ये सुन्नी वक्फ बोर्ड इस आधार पर की बाबर सुन्नी था इस लिए वहा पर अधिकार जमा रहे है .
वहा मंदिर था ये बात सुन कर तो उन्हें खुद ही सारी जमीन दे देनी चाहिए पर ये बाबर वाली मानसिकता अब भी रक्खे हुए है .वक्फ बोर्ड का वहा पर दावा नही बनता है.यो तो वही बात हुई की कोई आप को जबर्दस्स्ती आप के ही घर से निकल दे और जब वह आक्रमणकारी कमजोर पड़ जाये तो वो ये कहे की मैं तो बहुत समय से कब्ज़ा किये हू अब ये घर मेरा है .इन को एक इंच भूमि देना भी अपराध है .क्या हम माँ के तीन टुकडे कर दे .ये तो अन्याय है


\

बेनामी ने कहा…

ए अभिषेक तेरी माँ की आँख
बाबर को गाली निकल रहा है
कुता का लंड हरामखोर
हिन्झरे की औलाद अगर तेरे में इतना दम है ना नेट पर नहीं बहार आकर गाली आकर
निकाल
तेरी मया यही चुद जाएगी तुम्हारा यही क्या है इंडिया में ताज नहीं लाल किला नहीं
भारत 7 वे अजूबे आता है अपुन के कारण आता है तेरी मया रामलला के पास चुदवाले

बेनामी ने कहा…

खुद तो जीते नहीं दुसरो को भी नहीं जीने देते है
इन जैसे हराम खोरो की वजह से आज इंडिया अमेरिका से पीछे है

BOY ने कहा…

आश्‍मा कुतिया, बाबर रखैल आश्‍मा रंडी की छिनार की कुत्ती बेटी साली मॉ तो तेरी चुदेगी कुतिया, किसी मादर चोद मे दम नही की एक इंच जमीन अब ले सके, आ रंडी सामने आ चोद के के तेरी औकात मे ले आऊँ।

BOY ने कहा…

छिनार जा अमेरीका मे अपनी बुर नीलाम कर मादरचोदी

RPSingh ने कहा…

आश्‍मा जी,

आप इतने अपशब्‍दों में ब्‍लाग पर उच्‍चन्‍यायालय के अयोध्‍या फैसले पर अपनी टिप्‍पणी की है यह शोभा नही देता ऐसा लगता है आपकी अम्‍मा के उपर पूरा मुहल्‍ला चढा होगा तब आप निकली होगी इसलिए तालिबानी हरामजादो सें आपका इतना प्रेम है कभी भरतवासियों से प्रेम करके तो देखो कितना मजा आयेगा क्‍या इस समय तुम वेश्‍यालय में हो भई अमित जीे ने तुम्‍हारे बारे में जो कहा ठीक है

pawan khatri ने कहा…

ये मुस्लिम कुत्तों ने भारतीय इतिहास और मंदिरों के साथ बहुत छेड़छाड़ कि है!साले कुत्ते के पिल्ले.!
एक सच्चाई ओर सुनो दोस्तों...
सबसे बड़ी सच्‍चाई - ताज महल शिव मन्दिर
ताजमहल में शिव का पाँचवा रूप अग्रेश्वर महादेव नागनाथेश्वर विराजित है
http://mahashakti.bharatuday.in/2009/12/blog-post_19.html
वरिष्‍ठ इतिहासकार पीन एन ओक के सन्‍दर्भ में ताजमहल की वास्‍तविक सच्‍चाई बताता हुआ लेख।

pawan khatri ने कहा…

इन कटियों कि कुछ और हरकतें देखो दोस्तों

http://islamthedevil.blogspot.com/

बेनामी ने कहा…

अरे आशमा जी ईतना नफरत हिन्दु से अच्छी बात नही आखिर हम सभी पहलेँ इंसान है फिर बाद मे जाति धर्म बटा आपके बाप भी पहले हिन्दु पैदा हुए होँगे बाद मे ना उनका समान काटकर मुसलमान बनाया गया होगा ये आपका नही आपके संस्कार का दोष है ईतना अपश्बद अच्छा नही है औरत का जगह निचे ही अच्छा लगता है ज्यादा उपर चडोगी तो उछल-2 कर थक जाओगी और कुछ हाथ नही आयेगा और पोछती रह जाओगी

राजन ने कहा…

अरे आशमा जी ईतना नफरत हिन्दु से अच्छी बात नही आखिर हम सभी पहलेँ इंसान है फिर बाद मे जाति धर्म बटा आपके बाप भी पहले हिन्दु पैदा हुए होँगे बाद मे ना उनका समान काटकर मुसलमान बनाया गया होगा ये आपका नही आपके संस्कार का दोष है ईतना अपश्बद अच्छा नही है औरत का जगह निचे ही अच्छा लगता है ज्यादा उपर चडोगी तो उछल-2 कर थक जाओगी और कुछ हाथ नही आयेगा और पोछती रह जाओगी